एक ओर कलाकार नहीं रहा

 2020 शायद बॉलीवुड के लिए या यूं कहें पूरे विश्व के लिए बहुत ही बुरा साल साबित हो रहा है। एक के बाद एक कई बॉलीवुड सितारे इस दुनिया को अलविदा कह रहे है। सबसे पहले इरफान खान, फिर ऋषि कपूर व इन दोनों दिग्गज कलाकार के सदमे से लोग बाहर भी नहीं आए थे कि म्यूजिक डायरेक्टर वाजिद खान की भी मौत की खबर सामने आई। इसके बाद तो सबसे ज्यादा हैरान कर ने वाली खबर सुशांत सिंह राजपूत की आई। जिससे लोग अभी पूरी तरह से उबरे भी नहीं थे कि अब सरोज खान के निधन से पूरा बॉलीवुड सदमे में है। बॉलीवुड की मशहूर कोरियोग्राफर सरोज खान का 71 साल की उम्र में निधन हो गया है।

कुछ समय से उन्हें सांस लेने में दिक्कत हो रही थी जिसके बाद उन्हें अस्पताल में भर्ती कराया गया था व गुरुवार देर रात 1.52 बजे दिल का दौरा पड़ने के कारण उनकी मौत हो गई। एंव कुछ दिन पहले ही उनका कोरोना टेस्ट भी हुआ था जिसकी रिपोर्ट निगेटिव आई थी। 50 के दशक में बतौर बैकग्राउंड डांसर के तौर पर सरोज खान ने बॉलीवुड में कदम रखा था। उन्होंने कोरियोग्राफर बी. सोहनलाल के साथ भी ट्रेनिंग ली थी। व 1974 में रिलीज हुई फिल्म गीता मेरा नाम से सरोज खान एक स्वतंत्र कोरियोग्राफर की तरह जुड़ीं थी हालांकि उनके काम को काफी समय बाद बॉलीवुड में पहचान मिली थी। सरोज खान की मुख्य फिल्मों में मिस्टर इंडिया, नगीना, चांदनी, तेजाब, थानेदार और बेटा जैसी कई फिल्में शामिल है। सरोज खान ने मशहूर अभिनेत्री श्रीदेवी के साथ भी कई हिट गाने दिए है। एंव चांदनी फिल्म के गाने मेरे हाथों में नौ नौ चूड़ियां हैं, चांदनी ओ मेरी चांदनी यह गीत खूब मशहूर हुए थे। श्रीदेवी के साथ सरोज ने नगीना, निगाहें, नगीना-2, चालबाज, मिस्टर इंडिया में भी काम किया है। और सरोज खान बॉलीवुड में दो हजार से ज्यादा गाने कोरियोग्राफ भी कर चुकी हैं। उन्होंने अभिनेत्री रेखा के साथ भी काम किया है। कई समारोह में रेखा को अपनी गुरु सरोज खान के प्रति झुककर उनका आदर करते हुए भी देखा गया है।
ऐश्वर्या राय के गाने 'बरसो रे मेघा-मेघा' को भी सरोज खान ने ही कोरियोग्राफ किया था। इस गाने के लिए सरोज खान फिल्मफेयर अवॉर्ड भी जीत चुकी हैं। एक ऐसी प्रतिभा जिन्होंने अपने शानदार काम में लगन से सितारों और संगीत को अमर करा है। उन्हें कभी कोई भूल नहीं पाएगा। व अब कोई भी दिग्गज उनकी जगह नहीं ले पाएगा। यकीनन यह दुखद घड़ी है, व इस वक्त उनके प्रियजन को इस घड़ी से उबरने की हिम्मत मिले यही मेरी आशा हैं।
-निधि जैन

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